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लकवाग्रस्त शिक्षक पर स्कूल की जिम्मेदारी, ग्रामीणों में काफी आक्रोश

धमतरी जिले में शिक्षा व्यवस्था का बुरा हाल है, जिसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि दुगली प्राथमिक स्कूल की जिम्मेदारी एक लकवाग्रस्त शिक्षक पर है जो शिक्षकीय कार्य करने में असमर्थ है. बता दे कि यह स्कूल अंग्रेज जमाने से संचालित है और इस स्कूल में पूर्व पीएम राजीव गांधी भी आए थे.

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ऐसे इस ऐतिहासिक स्कूल में शिक्षक नही होने से ग्रामीण में काफी आक्रोश देखने को मिल रहा है. ग्रामीणो ने बताया कि स्टेशन पारा प्राथमिक शाला दुगली साल 1927 से संचालित है, इस स्कूल को अंग्रेजो के व्दारा बनाया गया है. वही साल 1985 में देश के पूर्व प्रधानमंत्री इस स्कूल में आए थे और बच्चो से बातचीत भी किया और वर्तमान में इस स्कूल में करीब 70 बच्चे अध्ययनरत है.

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ग्रामीणो ने बताया कि स्कूल में अभी सिर्फ प्रधानपाठक ही है, जो लकवाग्रस्त है और चलने फिरने साथ ही शिक्षकीय कार्य करने में पूरी तरह से असमर्थ है. ग्रामीणो का कहना है कि स्कूल में शिक्षक नही होने से पढाई पूरी तरह से प्रभावित है, ऐसे में बच्चो का भविष्य अंधकार मय हो गया है. वही ग्रामीणो ने प्रशासन को चेतावनी दी है कि अगर एक सप्ताह के भीतर यंहा शिक्षक नही भेजा जाता तो स्कूल में तालाबंदी कर देंगे. बहरहाल शिक्षा विभाग जल्द शिक्षक की कमी को दूर करने की बात कह रहे है.

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